Team India के Headache बन चुके ट्रेविस हेड को लोग अब ट्रेविस हेड नहीं बल्कि ट्रेविस headache कह रहे है। क्योंकि यह एकमात्र ऐसे ऑस्ट्रेलियाई खिलाड़ी है, जो बीते कई मैचों से टीम इंडिया के लिए सर दर्द बन चुके हैं। लेकिन अब टीम इंडिया का सिर दर्द खत्म हो सकता है। बॉर्डर गावस्कर ट्रॉफी BGT में दुखी कर रखा है। ट्रेविस हेड ने तीन टेस्ट मैच में 81 के औसत से 409 रन बना दिए हैं।
लेकिन अब यह माना जा रहा है कि ट्रेविस हेड नाम के सिर दर्द, इंडिया अब ठीक कर सकते हैं। तेज गेंदबाज आकाशदीप कहते हैं कि इस बार बॉर्डर गावस्कर ट्रॉफी टेस्ट में इंडिया का सिर दर्द गायब हो जाएगी। क्योंकि टीम इंडिया ट्रेविस के लिए बेहतरीन प्लान बना लिया है। यह वही प्लान है, जिसका जिक्र हमेशा से भारतीय कमेंटेटर करते चले आ रहे है। वह यह की शॉर्ट बॉल मारो, क्योंकि शॉर्ट बॉल मारोगे वह बाला घूमेगा। गेंद हवा में जाएगी और ट्रेविस हेड का चैप्टर वही क्लोज हो जाएगा। और आप आसानी से खेल को जीत जाओगे।इसलिए भारतीय तेज गेंदबाज आकाशदीप कह रहे हैं । कि ट्रेविस हेड शॉर्ट बॉल पर परेशान होते हैं। इसीलिए टीम इंडिया ट्रेविस हेड नमक हेडाचे को समाप्त करने के लिए शॉर्ट बॉल का प्रयोग टीम इंडिया करने वाले हैं।

आकाशदीप कहते हैं कि हमने जो प्लान बनाया है। उसमें हम ट्रेविस हेड को टिकने नहीं देंगे। बाकी की ऑस्ट्रेलिया प्लेयर चले या ना चले लेकिन हम ट्रेविस हेड को तो चलने नहीं देंगे। चाहे बुमराह हो , सिराज हो या खुद मैं आकाशदीप। ट्रेविस हेड को नहीं चलने देंगे।
आकाशदीप वही खिलाड़ी है, जिसने इंडिया का फॉलो ऑन बचाया था। या फिर हम यह भी कह सकते हैं कि जिसने इंडिया का टेस्ट मैच बताया था। गरबा टेस्ट मैच में जो 31 रन का परी आकाशदीप ने खेले थे। जैसे बहुत बड़ा इंपैक्ट पड़ा था। बुमराह के साथ आकाशदीप का दसवां विकेट के लिए 47 रनों की पार्टनरशिप की थी। क्योंकि इंडिया को फॉलो ऑन बचाने के लिए 33 रन चाहिए थी। आकाशदीप का ज़ो योगदान था उसका इंपैक्ट यह था कि इंडिया का वह मैच ड्रॉ हो गया। अगर इंडिया फॉलो ना बचा पाती तो उन्हें फिर से बैटिंग करनी पड़ती। और शायद इंडिया हार जाती। लेकिन क्योंकि इंडिया ने फॉलो ऑन बचा लिया और दूसरे इनिंग में ऑस्ट्रेलिया का साथ विकेट एक के बाद एक गिरा दिए। जिसके कारण यह मैच ड्रॉ हो गया। इस कारण इंडिया इस मैच में बच गई। आकाश कहते हैं कि हमेशा हमारी कोशिश होती है कि 20 से 25 रन कम से कम हम बनाएं।

लेकिन एक फिर से ट्रेविस हेड का इलाज करना अति आवश्यक हो जाता है क्योंकि गावा टेस्ट मैच में 75 रन पर ऑस्ट्रेलिया दो थी। वहां पर भी ट्रेविस हेड बल्लेबाजी करते हुए 160 वोल्ट में 152 रन ठोक दिए। सेकंड इनिंग में भी सबसे ज्यादा रन बना दिए थे। हेड बल्लेबाज थे जिसने 50 ठोका था। एडिलेड टेस्ट में पहले पारी में 140 रन ठोक दिया था। पर्थ में भी 152 रन ठोक था। अब हेड का प्रॉब्लम यह है कि सिर्फ तेज खेलते ही नहीं बल्कि बहुत तेज खेलते है। जिसके कारण, एक प्लेयर के कारण पूरा मैच एक तरफ से दूसरी तरफ चला जाता है। हेड अकेले ही इंडिया से मैच छीन लेते हैं। यही कारण है कि अगर इंडिया हेड को रोक लेते हैं तो इंडिया बड़े ही आसानी से यह टेस्ट में जीत लेंगे। और बॉर्डर गावस्कर ट्रॉफी को भी जीत लेगी।